Tuesday, October 18, 2011

संक्षिप्त बायोडाटा

          


                         दिनांक ६ नवम्बर २०११ 
इण्डो-नेपाल महिला बाल साहित्यकार सम्मेलन एवं सम्मान समारोह-२०११
    संयोजक- बाल कल्याण एवं साहित्य शोध केन्द्र खटीमा (उ०ख०)

                                संक्षिप्त बायोडाटा

                      -डा. महाश्वेता चतुर्वेदी ( उ०प्र्० )
      हिन्दी,अंग्रेजी और संस्कृत में एम.ए.,साहित्याचार्य,संगीत प्रभाकर,डिप्लोमा इन योग 
एण्ड नैचुरोपैथी,डिप्लोमा इन जर्नलिज्म्, एल.एल.बी.,पी.एच.डी.और डी.लिट की उपाधियों
से विभूषित डा.महाश्वेता चतुर्वेदी,वर्तमान में बरेली के एक महिला पी जी कालेज में प्रोफेसर 
एंव शोध निदेशक के पद पर कार्यरत हैं |
     आपने हिन्दी,अंग्रेजी और संस्कृत में समान रूप से बृहद लेखन कर सौ के लगभग -
पुस्तकें और शोध सृजित किये हैं | यही नही आपके साहित्य पर भी दर्जन भर शोध हो चुके 
हैं | आप ग्यारह से अधिक देशों की साहित्यिक यात्रायें कर चुकी हैं | आप देश में बिरली 
हिन्दी और अंग्रेजी में निकलने वाली पत्रिका 'मन्दाकिनी' का सम्पादन भी करती हैं | बाल 
साहित्य में आपने श्रेष्ठ साहित्य का सृजन किया है और उसके लिये एक समर्पित संस्थान के 
रूप में आप कार्यरत हैं | आप इस परिचर्चा की मुख्य वक्ता हैं | आपको सम्मानित करने 
का अर्थ है संस्थान के हर सदस्य का सम्मान |











                              डा.प्रवेश सक्सेन (दिल्ली)
      डा.जाकिर हुसेन पी जी कालेज दिल्ली से एसोसियेट प्रोफेसर के पद से अवकाशप्राप्त 
डा सक्सेना कई संस्थानों में विजिटिंग प्रोफेसर के पद पर कार्य़रत हैं | आप कई शोध करा
चुकी हैं तथा बाल साहित्य के अतिरिक्त समग्र साहित्य में भी आप श्रेष्ठ लेखन के लिये सुवि-
ख्यात हैं | आप चार ग्रन्थों का सम्पादन एंव बीस से अधिक पुस्तकों की रचियता हैं |आपकी
'हंसता गाता बचपन'दिल्ली हिन्दी अकादमी से पुरुस्कृत बाल रचना है |आप दर्जन भर -
प्रतिष्ठत सम्मान प्राप्त कर चुकी हैं | आपका 'आम का पेड़ ' बाल कहानी ग्रन्थ प्रकाशनाधीन 
है | आपके लिये यह सम्मान प्रदान करना संस्थान का गौरव है |







       सुश्री सुर्कीति भटनागर - (पटियाला, पंजाब)
      पंजाब के पाकिस्तान में चले गये सियालकोट में जन्मी सुर्कीति जी बाल साहित्य के
के लिये समर्पित अहिन्दीभाषी प्रख्यात बाल साहित्यकार के रूप में स्थापित हैं | एम ए तक 
शिक्षा प्राप्त आप स्वतंत्र लेखिका हैं | अब तक आपके दस बाल कथा संग्रह,तीन बाल उपन्यास,
दो बाल गीत संग्रह तथा तीन सौ से अधिक बाल रचनायें पत्रिकाओं मे प्रकाशित हो चुकी हैं | 
समग्र साहित्य में भी तीन कथा संग्रह , दो लघु कथा संग्रह  तथा सौ से अधिक रचनायें
 प्रकाशित हो चुकी हैं | इस बर्ष का आपको 'महिला बाल साहित्य शिरोमणी ' का सम्मान 
देकर संस्थान स्वंय को गौरवान्वित अनुभव करता |
         आप राष्ट्रीय स्तर के लिये चालीस से अधिक प्रतिष्ठित सम्मान प्राप्त कर चुकी हैं |
 भाषा विभाग पंजाब सरकार द्वारा आपके बाल कथा संग्रह को वर्ष २००६ का तथा वर्ष २००९ में
 बाल गीत संग्रह को , सर्वश्रेष्ठ बाल साहित्य का सम्मान प्राप्त हो चुके हैं | हिन्दी सभा सीतापुर
 भी आपके बाल उपन्यास को वर्ष २००९ का सर्वश्रेष्ठ बाल रचना का सम्मान प्रदान 
कर चुकी है | आपका सम्मान आपके सम्मान का प्रतीक़ न्हीं बल्कि संस्थान के गौरव का
प्रतीक है | 






         डा. के श्री लता  - तिरूवनन्त पुरम (केरल)   
       श्री शंकराचार्य संस्कृत विश्वविद्यालय के प्रादेशिक केन्द्र तिरूवनन्त पुरम में एसो- 
सियेट प्रोफेसर मलयालम भाषी श्रेष्ठ बाल साहित्य़ शोधकर्ता तथा साहित्यकार हैं |हिन्दी 
विभाग की प्राध्यापिका डा. श्रीलता ने हिन्दी में भी कुछ बाल रचनायें की हैं जो स्थानीय 
क्षेत्र में विशेष प्रशंषित हुयी हैं | आप वर्ष १९९४ से १९९८ तक लगातार पांच वर्ष तक केरल 
हिन्दी साहित्य अकादमी से एस बी टी साहित्य सम्मान प्राप्त कर चुकी है | आप राष्ट्रीय
हिन्दी साहित्य सम्मेलन का प्रोफेसर चन्द्र हासन सम्मान भी प्राप्त कर चुकी हैं |आपकी 
विभिन्न विषयों पर सात पुस्तके प्रकाशित हो चुकी हैं | विभिन्न पत्रिकाओं में भी आपकी
बाल रचनाएं प्रकाशित होती रहती हैं | कई विश्वविद्यालयों की विजिटिंग प्रोफेसर होने के साथ
ही आप विभिन्न सरकारी संस्थानों की विभिन्न समितियों में भी पदाधिकारी हैं | आप को 
सम्मानित करके संस्थान स्वंय को गौरवान्वित अनुभव करता है |






       डा.मिथलेश रोहतगी
      हिन्दी विभाग की प्रवक्ता,विभागाध्यक्ष तथा प्राचार्या महाविद्यालय पद पर रह चुकी डा.
रोहतगी प्रख्यात महिला शिक्षाविद के रूप में ख्यात रही हैं | आप ने विभिन्न विधाओं में 
साहित्य सृजन किया है | बच्चों के साहित्य के विकास में सतत प्रयत्नशील रहीं आपकी -
क्षमताओं का आकलन कर ही केन्द्र सरकार द्वारा आपको भारत के बाल साहित्यकारों का कोष
तैयार करने का गुरूतर भार प्रदान किया है |अनेक राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त कर चुकी हैं तथा-
अनेक शोध आपके निर्देशन में सम्पन्न हुये हैं | आपकी दो बाल कृतियां प्रकाशनाहीन हैं |
     आपका सम्मान अगली पीढी को प्रेरणा प्रदान करेगा ऐसा हमें विश्वास है |








              श्रीमती विमला रस्तोगी(दिल्ली) 
      सुप्रसिद्ध समाज सेवी एंव बाल साहित्यकार विमला जी की दो बाल कृतियां नेशनल 
बुक ट्र्स्ट से प्रकाशित हो चुकी हैं तथा कई कहानी संग्रह ,बाल एकांकी, तथा काव्य पुस्तकें
विभिन्न पुरूस्कार प्राप्त कर प्रकाशनाधीन हैं | तथा भारत सरकार के आपरेशन ब्लैक बोर्ड में
चयनित हो चुकी हैं |
      बीस के लगभग राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त विमला जी को सम्मानित कर संस्थान स्वंय 
को गौरवान्वित अनुभव करता है |








      सुश्री सुरेखा शर्मा 'शान्ति'(गुडगाँव) 
       हरियाणा निवासी सुरेखा जी समाज सेवी, हिन्दी सेवी और बाल साहित्य के लिये
समर्पित व्यक्तित्व की स्वामिनी हैं |देश में कार्यरत अनेक हिन्दी सेवी संस्थाओं की आप -
पदाधिकारी हैं तथा बाल कविताओं पर आपकी कई पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं | साहित्य 
की अन्य विधाओं पर भी आपका समान अधिकार है तथा इस क्षेत्र में भी आपकी एक अलग 
पह्चान है | आप लगभग बीस सम्मान प्राप्त कर चुकी हैं तथा आपका एक बा एकांकी संग्रह 
प्रकाशनाधीन है | 
       आपका सम्मान कर हम अनुग्रहित हैं |







        सुश्री उषा अग्रवाल  (महाराष्ट्र)    
       नागपुर (महाराष्ट्र् निवासी उषा जी ने यद्यपि अभी कुछ दिनों से ही बाल साहित्य के 
क्षेत्र मे पदार्पण किया है किन्तु हायकू और लघुकथा के क्षेत्र मे आप का बहुत सम्मानित नाम
है | आप बाल साहित्य की हर विधा मे लिख रही हैं और बहुत अच्छा लिख रही हैं | आप 
की कई बाल पुस्तकें प्रकाशनाधीन हैं  | आकाशवाणी और मंच से आप की रचनाओं का 
सतत प्रसारण होता रह्ता है |
        आपका सम्मान हम सब का गौरव है |







         ट्विंकल अग्रवाल (महाराष्ट्र)
       इस समारोह की सबसे कम आयु की ट्विंकल जी भी महाराष्ट्र से ही हैं तथा आप 
बाल साहित्य के क्षेत्र में कहने के लिये तो नवांगत किन्तु इन एक दो वर्षों में ही आपने 
बाल साहित्य के क्षेत्र में अपना एक अलग स्थान बनाया है | आप बहुमुखी प्रतिभासम्पन्न
युवा साहित्यकार हैं | 
      आपका सम्मान युवा पीढी का सम्मान है |





         सुश्री स्नेहलता (लखनऊ) 
      उत्तर रेलवे मण्डल कार्यालय लखनऊ में लेखाधिकारी के पद पर आसीन स्नेह लता 
जी का नाम साहित्यिक क्षेत्र में बड़े आदर के साथ लिया जाता है | आपकी विभिन्न विधा
में दस से अधिक पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी ह |जिनमे बालसाहित्य की चार पुस्तकें विशेष 
प्रशंसित रही हैं | उत्तर प्रदेश हिन्दी संस्थान ,बालसाहित्य संस्थान लखनऊ से विभिन्न-
सम्मानों के अतिरिक्त आपको अन्य संस्थानों से एक दर्जन से अधिक सम्मान प्राप्त हो चुके 
हैं |आकाश वाणी से आपकी बाल कविताओं का सतत प्रसारण होता है |
       आपका सम्मान संस्थान की एक बिशेष उपलब्धि है | गौरव है |

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